क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है

हाल में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी वर्ल्ड इकोनॉमिक फोरम पर इस तरह के नियम बनाए जाने पर चर्चा किए जाने का आह्वान किया था।
Budget 2022 : भारत लॉन्च करेगा अपना ‘डिजिटल रुपया’, जानिए डिजिटल करेंसी से जुड़ी हर बात
Budget 2022 : वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने मंगलवार को आम क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है बजट, 2022-23 पेश करते हुए ऐलान किया कि भारत में अप्रैल, 2022 क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है से शुरू होने जा रहे वित्त वर्ष में अपनी डिजिटल करेंसी (digital currency) पेश करेगा। डिजिटल करंसी से ज्यादा इफीशिएंट और सस्ते करेंसी मैनेजमेंट सिस्टम को बढ़ावा मिलेगा। क्रिप्टो या डिजिटल करेंसीज को लेकर दुनियाभर में दीवानगी को देखते हुए भारत सरकार के इस कदम को खासा अहम माना जा रहा है।
आरबीआई प्राइवेट क्रिप्टोकरेंसी का कड़ा विरोध करता रहा है, क्योंकि वे राष्ट्रीय सुरक्षा और फाइनेंशियल स्टैबिलिटी पर प्रभाव डाल सकती हैं।
रेगुलेशन को अभी देना है अंतिम रूप
संबंधित खबरें
Budget 2023: आपको बजट में क्या चाहिए? 10 दिसंबर तक दे सकते हैं सुझाव
OYO Hotels का घाटा सितंबर तिमाही में कम होकर ₹333 करोड़ पर आया, IPO लॉन्च होने से पहले रेवेन्यू 24% बढ़ा
डोनॉल्ड ट्रंप को बैन कर Twitter ने की थी बड़ी गलती, ट्वीट नहीं करना उनकी मर्जी: Elon Musk
वित्त मंत्री ने कहा कि 'डिजिटल रुपया' नाम की यह करेंसी रिजर्व बैंक (RBI) द्वारा डिजिटल फॉर्म में जारी की जाएगी और इसे फिजिकल करेंसी यानी रुपये के साथ बदला जा सकेगा। सेंट्रल बैंक की इस डिजिटल करेंसी (सीबीडीसी) को कंट्रोल करने वाले रेगुलेशन को अंतिम रूप दिया जाना बाकी है।
#WATCH | Central bank will issue a digital currency, no क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है discussions over what are Crypto & Crypto assets for now. Consultation with stakeholders is underway. The description of digital assets will come after the consultation: FM Nirmala Sitharaman pic.twitter.com/13a2eaUtWe
डिजिटल रुपया क्या है, क्रिप्टो करेंसी से किस तरह और क्यों अलग है भारत की डिजिटल मुद्रा
डिजिटल क्रांति के दौर में अब रुपया भी डिजिटल हो चुका है। रिजर्व बैंक (RBI) ने हाल ही में 1 नवंबर से डिजिटल करंसी (Digital Currency) यानी ई-रुपया की शुरुआत की। शुरुआती दौर में इस डिजिटल करंसी (Central Bank Digital Currency) का उपयोग पायलट प्रोजेक्ट के तहत केवल होलसेल ट्रांजेक्शन के लिए किया जाएगा।
Digital Currency: डिजिटल क्रांति के दौर में अब रुपया भी डिजिटल हो चुका है। रिजर्व बैंक (RBI) ने हाल ही में 1 नवंबर से डिजिटल करंसी (Digital Currency) यानी ई-रुपया की शुरुआत की। शुरुआती दौर में इस डिजिटल करंसी (Central Bank Digital Currency) का उपयोग पायलट प्रोजेक्ट के तहत केवल क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है होलसेल ट्रांजेक्शन के लिए किया जाएगा। बाद में इसे रिटेल सेगमेंट के लिए भी इस्तेमाल किया जाएगा। कुछ समय तक रिजर्व बैंक इसमें आने वाली चुनौतियों को समझेगा और इसके बाद ही इसे आगे बढ़ाया जाएगा। आखिर क्या है डिजिटल रुपया और ये किस तरह क्रिप्टो करंसी से अलग है, आइए जानते हैं।
Cryptocurrency की भारत में आज की कीमत
क्रिप्टो करेंसी ऑनलाइन भुगतान का एक तरीका है जिसे वस्तु और सेवाओं के बदले दिया जाता है. दरअसल क्रिप्टो करेंसी नेटवर्क आधारित डिजिटल मुद्रा है. कुछ कंपनियों ने अपनी क्रिप्टो करेंसी भी जारी की है. जिसे टोकन्स कहते हैं. इन टोकन्स का प्रयोग आमतौर पर कंपनी के ही गुड्स और सर्विसेस खरीदने के लिए होता है.
वास्तविक मुद्रा और क्रिप्टो करेंसी में बेसिक फर्क यही है कि आप जिस पैसे को बाजार में खर्च करते हैं उसे देश का केंद्रीय बैंक जारी करता है. जबकि क्रिप्टो करेंसी को कोई व्यक्ति या कंपनी जारी कर सकती है.
डिसेंट्रलाइज्ड तकनीक क्या है?
डिसेंट्रलाइज्ड तकनीक रिसोर्स का एलोकेशन है. आसान भाषा में समझें तो ये कहा जा सकता है कि किसी वस्तु या रिसोर्स का नियंत्रण किसी एक व्यक्ति, संस्था या सेंट्रल टीम के पास नहीं होता है बल्कि उसका विकेंद्रीकरण यानी डिसेंट्रलाइजेशन होता है. क्रिप्टो करेंसी में जिस तकनीक ब्लॉकचेन का इस्तेमाल किया जाता है, उससे उस क्रिप्टो करेंसी पर किसी एक व्यक्ति या संस्था का नियंत्रण नहीं रहता, बल्कि डिसेंट्रलाइज्ड टेक्नोलॉजी के जरिये उसे बहुत से कम्प्यूटर के जरिये अलग-अलग लोकेशन से मैनेज किया जाता है और ट्रांजेक्शन रिकॉर्ड किया जाता है. यह तकनीक जितनी मजबूत होगी वो क्रिप्टो करेंसी उतनी ही सिक्योर होगी.
CryptoCurrency या डिजिटल करेंसी एक वर्चुअल करेंसी है. इसका यूज भी डिजिटल लेन-देन के लिए किया जा सकता है. इसे आप ना देख सकते हैं ना ही छू सकते हैं. इसका पूरा बिजनेस ऑनलाइन ही होता है. बाकी देशों की करेंसी की तरह इसे कोई कंट्रोल नहीं करता है. इसे नेटवर्क के जरिए ऑनलाइन ऑपरेट किया जाता है. इस वजह से इसकी कीमत में लगातार उतार-चढ़ाव देखा जा सकता है.
डिजिटल या क्रिप्टो करेंसी क्या होती है?
आपने अभी तक Physical Currency का नाम सुना भी होगा और इस्तेमाल भी कर रहे होंगे, लेकिन आज हमारे पास एक ओर तरह की करेंसी आ गयी है, जिसका इस्तेमाल तो हम कर सकते हैं, लेकिन वो क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है मूर्त रूप में हमारे पास नहीं हो सकती, क्योंकि ये केवल आभाषी करेंसी यानी मुद्रा है, ओर इसे ही हम Digital Currency या Crypto Currency के नाम से जानते हैं। इसे हम किसी भी देश की Currency/मुद्रा की तरह इस्तेमाल कर सकते हैं, बस अंतर सिर्फ इतना होता है, कि इसका इस्तेमाल केवल हम ऑनलाइन तरीके से इंटरनेट के द्वारा ही कर सकते हैं।
क्रिप्टो करेंसी क्या है
प्रत्येक देश की अपनी एक करेंसी अर्थात मुद्रा होती हैं और उसका एक निश्चित नाम भी होता है, जैसे कि भारत में रूपया, अमेरिका में डालर, अरब का रियाल आदि | किसी भी देश की करेंसी के माध्यम से उस देश की अर्थव्यवस्था संचालित होती है |
इन सभी करेंसी को आप देख सकते है, अपनें पास एकत्र कर सकते है परन्तु आज की इस डिजिटल दुनिया में एक नई तरह की करेंसी आ गयी है, जिसे न ही हम देख सकते है और ना क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है ही हम छू सकते है, क्योंकि यह डिजिटल फॉर्म में होती हैं | इस डिजिटल करेंसी का नाम क्रिप्टोकरेंसी है | क्रिप्टो करेंसी क्या है, क्रिप्टो करेंसी के प्रकार व नाम के बारें में आपको यहाँ पूरी जानकारी विधिवत रूप से दे रहे है |
क्रिप्टो करेंसी का क्या मतलब होता है ?
Table of Contents
क्रिप्टो करेंसी एक ऐसी मुद्रा है, जो कंप्यूटर एल्गोरिथ्म पर बनी होती है | यह एक ऐसी मुद्रा है, जिसे किसी क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है भी देश की सरकार लागू नहीं करती है | इस मुद्रा पर किसी देश, राज्य या किसी अथॉरिटी का नियंत्रण नहीं होता है अर्थात यह एक स्वतंत्र मुद्रा है, जो डिजिटल रूप में होती है इसके लिए क्रिप्टोग्राफी क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है का प्रयोग किया जाता है। क्रिप्टो करेंसी द्वारा आप किसी भी तरह क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है की वस्तु या सेवाएं खरीद या बेच सकते हैं।
क्रिप्टो करेंसी की शुरुआत सबसे पहले जापान के सतोषी नाकमोतो नामक इंजीनियर नें वर्ष 2009 में की थी और पहली क्रिप्टो करेंसी का नाम बिटकॉइन है | हालाँकि शुरुआत में क्रिप्टो करेंसी या डिजिटल करेंसी क्या है इसे कोई खास सफलता नहीं मिली परन्तु कुछ समय बाद यह काफी प्रचलित हुई और इसकी कीमत आसमान छूने लगी और धीरे-धीरे यह पूरी दुनिया में फ़ैल गयी |
क्रिप्टो करेंसी के प्रकार (Types Of Crypto Currency)
वर्तमान समय में लगभग 1 हजार से अधिक क्रिप्टोकरेंसी मार्केट में उपलब्ध हैं, परन्तु इनमें से कुछ क्रिप्टो करेंसी ऐसी है, जिनका उपयोग सबसे अधिक किया जा रहा है, इनके नाम इस प्रकार है-
बिटकाइन (Bitcoin)
बिटकॉइन दुनिया की सबसे महंगी क्रिप्टोकरेंसी है, मुख्य रूप से इसका उपयोग बड़े-बड़े सौदो में किया जाता है|
सिया कॉइन (Sia Coin)
सिया कॉइन को एससी के नाम से भी जाना जाता है, ग्रोथ करने के मामले में बिटकॉइन के बाद सियाकॉइन का नंबर आता है |
लाइटकॉइन (Lite Coin)
लाइटकॉइन का अविष्कार वर्ष 2011 में चार्ल्स ली द्वारा किया गया था, यह क्रिप्टोकरेंसी भी बिटकॉइन की तरह ही हैं, जोकि डीसेंट्रलाइज्ड भी हैं और साथ ही पीर टू पीर टेक्नोलॉजी के तहत कार्य करती हैं |