पेटीएम मनी

पेटीएम मनी
सत्येंद्र जैन का एक और वीडियो आया सामने, सेल में खाना खाते हुए आए नजर
नई दिल्ली, 23 नवंबर (आईएएनएस)। दिल्ली के मंत्री सत्येंद्र जैन तिहाड़ जेल में हैं, जहां से उनका एक और वीडियो सामने आया है। वीडियो में जैन तिहाड़ जेल में अपने सेल के अंदर खाना खाते हुए नजर आ रहे हैं।
नई दिल्ली, 23 नवंबर (आईएएनएस)। दिल्ली के मंत्री सत्येंद्र जैन तिहाड़ जेल में हैं, जहां से उनका एक और वीडियो सामने आया है। वीडियो में जैन तिहाड़ जेल में अपने सेल के अंदर खाना खाते हुए नजर आ रहे हैं।
पहले खबर आई थी कि जैन का लगभग छह किलो वजन कम हो गया था क्योंकि वह उपवास रखे हुए थे और इस दौरान वे सिर्फ फल का सेवन कर रहे थे।
सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे नए वीडियो में पेटीएम मनी आप नेता कई प्रकार के पकवान खाते हुए नजर आ रहे हैं।
वीडियो सामने आने के बाद तिहाड़ के अधिकारियों पर सवाल उठ रहे हैं कि कैसे बाहर से पैक खाने को परिसर के अंदर परोसने दिया जा रहा है।
इससे पहले जैन ने एजेंसियों पर केंद्र के इशारे पर काम करने और उनके वीडियो लीक करने का आरोप लगाते हुए अदालत का दरवाजा खटखटाया था।
बता दें, इससे पहले जैन का एक और वीडियो सामने आया था, जिसमें वे जेल के अंदर मालिश करवाते हुए नजर आ रहे हैं।
जैन को 30 मई को धन शोधन निवारण अधिनियम के प्रावधानों के तहत गिरफ्तार किया गया था।
ईडी ने विभिन्न संदिग्धों के खिलाफ दर्ज सीबीआई की प्राथमिकी के आधार पर मनी लॉन्ड्रिंग जांच शुरू की, जिसमें इफको के प्रबंध निदेशक उदय शंकर अवस्थी, पंकज जैन, ज्योति ट्रेडिंग कॉपोर्रेशन और रेयर अर्थ ग्रुप, दुबई के प्रमोटर, अमरेंद्र धारी सिंह व अन्य शामिल थे।
सीबीआई ने उन पर कथित रूप से आपराधिक साजिश रचने, धोखाधड़ी और आपराधिक कदाचार करने का आरोप लगाया था।
UPI: यूपीआई से गलत खाते में पैसे हो गए हैं ट्रांसफर, तो जानें रिफंड पाने पेटीएम मनी का क्या है तरीका
यूपीआई आने के बाद देश के भीतर डिजिटल ट्रांजैक्शन के क्षेत्र में एक बड़ी क्रांति आई है। इसने देश को कैशलेस इकोनॉमी की तरफ बढ़ाने में एक बड़ी भूमिका निभाई है। आज बड़ी ई-कॉमर्स कंपनियों से लेकर छोटे दुकानदार भी यूपीआई की सेवाओं का उपयोग कर कर रहे हैं। ऐसे में यह कहना गलत नहीं होगा कि यूपीआई ने डिजिटल पेमेंट को एक लोकतांत्रिक स्वरूप देने का काम किया है। आज देश में बड़े पैमाने पर लोग यूपीआई के जरिए पेमेंट कर रहे हैं। अक्सर देखने को मिलता है कि यूपीआई के जरिए मनी ट्रांसफर करते समय गलती से किसी दूसरे व्यक्ति के खाते में पैसे ट्रांसफर हो जाते हैं। ऐसे में कई बार लोग परेशान हो जाते हैं। अगर आपने भी जल्दबाजी में अपने पैसों को यूपीआई पेटीएम मनी के जरिए किसी दूसरे व्यक्ति के खाते में ट्रांसफर कर दिया है। इसी कड़ी में आज हम आपको उस तरीके के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसकी मदद से आप रिफंड पा सकते हैं। आइए जानते हैं –
अगर आपने गूगल पे, फोन पे, पेटीएम आदि किसी एप से गलत व्यक्ति के खाते में यूपीआई के जरिेए पैसों को भेजा है। इस स्थिति में सबसे पहले आपको एप के कस्टमर सर्विस में अपनी शिकायत को दर्ज कराना है।
आप अपने बैंक के हेल्पलाइन नंबर पर भी कॉल कर सकते हैं। यहां आपकी मदद की जाएगी और पैसे को पेटीएम मनी कैसे दोबारा वापस पाया जा सकता है। उस प्रोसेस के बारे में बताया जाएगा।
रिजर्व बैंक ने इसको लेकर एक खास गाइडलाइन जारी कर रखी है। उसके मुताबिक गलत बैंक अकाउंट में पैसे ट्रांसफर होने पर आप उसकी शिकायत इस वेबसाइट पर विजिट bankingombudsman.rbi.org.in करके दर्ज करा पेटीएम मनी सकते हैं। यहां आपको अपने रिफंड के लिए एप्लीकेशन डालना है। इसके अलावा आपको बैंक को इस ट्रांजैक्शन से जुड़ी जरूरी जानकारी भी देनी है।
वहीं जिस व्यक्ति के खाते में पैसे गलती से ट्रांसफर हुए हैं और वह उसे देने से मना कर रहा है। इस स्थिति में आप उसकी शिकायत NPCI की वेबसाइट पर विजिट करके दर्ज कर सकते हैं।
24 एवं 25 सितंबर को बिजली बिल भुगतान केन्द्र खुलेंगे
मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी के कार्यक्षेत्र के अंतर्गत 24 एवं 25 सितंबर को अवकाश के दिन में भी बिजली बिल भुगतान केन्द्र सामान्य कार्य दिवसों की तरह कार्य करते रहेंगे। भोपाल शहर वृत्त के अंतर्गत चारों शहर संभाग यथा पश्चिम, पूर्व, दक्षिण तथा उत्तर संभाग के अंतर्गत सभी जोनल कार्यालय और दानिश नगर, मिसरोद, मण्डीदीप में बिल भुगतान केन्द्र उक्त छुट्टी के दिन भी सामान्य कार्य दिवस की तरह खुले रहेंगे। बिजली उपभोक्ताओं से अपील है कि वे राजधानी के जोनल आफिस में कैश काउंटरों पर बिल भुगतान और भोपाल शहर में विभिन्न स्थानों पर स्थापित ए.टी.पी. मशीन में भी बिल भुगतान कर सकते हैं।
इसके अलावा बिलों के भुगतान की सुविधा एम.पी.ऑनलाईन, कॉमन सर्विस सेन्टर, कंपनी पोर्टल portal.mpcz.in (नेट बैंकिंग, क्रेडिट/डेबिट कार्ड, यूपीआई, ईसीएस, बीबीपीएस, कैश कार्ड एवं वॉलेट आदि) फोन पे, अमेजान पे, गूगल पे, पेटीएम मनी पेटीएम एप एवं उपाय मोबाइल एप के माध्यम से बिल भुगतान की सुविधा उपलब्ध है। कंपनी ने यह भी निर्देश दिए हैं कि कंपनी कार्यक्षेत्र के सभी 16 जिलों में बिजली वितरण केन्द्र/बिल भुगतान केन्द्र अवकाश के दिन खुले रहेंगे। इसके लिए सभी मैदानी महाप्रबंधकों को निर्देशित किया गया है।
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14 साल बाद भी इंसाफ अधूरा, कुछ देशों का आतंकवाद पर दोहरा रवैया
मुंबई। 26 नवंबर 2008 को मुंबई में हुए आतंकी हमले में 160 से भी ज्यादा लोगों की मौत हो गई थी। वहीं 300 से ज्यादा लोग घायल हो गए थे। इस हमले को 14 साल बीत जाने पेटीएम मनी के बाद भी भारत को पूरा इंसाफ नहीं मिला है। 26/11 हमले के कई साजिशकर्ता अब भी सजा से बचे हुए हैं। वहीं कुछ देश ऐसे हैं, जो अक्सर पाकिस्तान की नापाक पेटीएम मनी हरकतों पर पर्दा डालने की कोशिश में लगे रहते हैं।
-14 साल में भारत ने कई बार सौंपे सबूत
14 साल बीत चुके हैं, लेकिन मुंबई हमले के पीड़ितों को अभी भी पूरा न्याय नहीं मिला है। पूर्ण न्याय सुनिश्चित करने के लिए पाकिस्तान द्वारा अभी भी कई साजिशकतार्ओं पर कार्रवाई की जानी बाकी है। भारत ने इस हमले के बाद ना सिर्फ कसाब बल्कि डेविड कोलमैन हेडली के बारे में भी पाकिस्तान को पर्याप्त सबूत दिए थे, जिसमें उसके लश्कर और पाकिस्तान की आईएसआई के बीच घनिष्ठ संबंध का खुलासा किया गया था। यही नहीं भारत ने आतंकी संगठन लश्कर-ए-तैयबा और आईएसआई के बीच संवाद आदान-प्रदान के दस्तावेज सहित कई अहम सबूत भी उपलब्ध कराए थे। मगर पाकिस्तान की तरफ से कोई कार्यवाही नहीं की गई।
-वैश्विक मंच से पाकिस्तान को किया गया बेनकाब
भारत ने संयुक्त राष्ट्र की आतंकवाद विरोधी बैठक में पिछले महीने पाकिस्तान स्थित आतंकवादी साजिद मीर का एक ऑडियो टेप चलाकर 26/11 के मुंबई आतंकवादी हमले में पाकिस्तान की भूमिका का विस्तार से खुलासा किया था। ऑडियो क्लिप में उसे मुंबई हमलों के दौरान आतंकियों को निर्देश देते हुए सुना जा सकता है। ऑडियो क्लिप चलाकर भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ पुख्ता सबूत पेश किए थे।
- अब तक की कोशिश साबित हुई है दिखावा
एक तरफ जहां देश-दुनिया में आतंकवाद को लेकर बड़ी-बड़ी बैठकें हो रही हैं, वहीं इसके नियंत्रण को लेकर सारी कोशिशें काफी हद तक दिखावा ही नजर आती हैं। इसका उदाहरण है हाल ही में पाकिस्तान को एफएटीएफ की ग्रे लिस्ट से बाहर करना। पाकिस्तान पर मनी लॉन्ड्रिंग और आतंकवादियों को आर्थिक मदद पहुंचाने का आरोप लगता रहा है। भारत ने पाकिस्तान को ग्रे लिस्ट से हटाने का विरोध भी किया था। इसके बावजूद इसे नजरअंदाज करते हुए पाकिस्तान को बड़ी राहत दी गई है। राहत मिलने के बाद एक बार फिर पाक आतंकियों की गतिविधियां बढ़ गई हैं।
भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर के संयुक्त राष्ट्र की बैठक में दिए हालिया बयान से भी पता चलता है कि आतंकवाद को लेकर वैश्विक स्तर पर बहुत कुछ किया जाना बाकी है। जयशंकर ने कहा था कि 26/11 आतंकी हमलों के मुख्य साजिशकर्ता और उसकी योजना बनाने वाले अब भी सुरक्षित हैं और उन्हें सजा नहीं दी गई है। उन्होंने कहा था कि जब कुछ आतंकवादियों पर प्रतिबंध लगाने की बात आती है, तो कुछ मामलों में संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद राजनीतिक कारणों से खेदजनक रूप से कार्रवाई करने में असमर्थ रही है।
- पाकिस्तान के आतंकियों पर चीन की मेहरबानी
चीन अक्सर वैश्विक मंचों से पाकिस्तान समर्पित आतंकियों को बचाने का कोई मौका नहीं छोड़ता। हाल ही में लश्कर-ए-तैयबा के बड़े आतंकवादी हाफिज तल्हा सईद को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की 1267 कमेटी की आतंकी सूची में शामिल करने के पेटीएम मनी भारत-अमेरिका के साझा प्रस्ताव पर चीन ने अपना वीटो लगाकर बचा दिया। तल्हा सईद लश्कर-ए-तैयबा के प्रमुख और मुंबई हमले के मास्टरमाइंड हाफिज सईद का बेटा है।
इससे पहले भी चीन ने संयुक्त राष्ट्र परिषद में लश्कर-ए-तैयबा के आतंकवादी शाहिद महमूद को वैश्विक आतंकवादी की सूची में शामिल कराने के भारत और अमेरिका के प्रस्ताव पर वीटो लगा दिया था। चीन अक्सर भारत द्वारा आतंकवाद को रोकने के प्रयासों पर रोड़ा अटकाता रहा है।
- प्रधानमंत्री मोदी ने दिया दुनिया को कड़ा संदेश
18-19 नवंबर को दिल्ली में हुए नो मनी फॉर टेरर सम्मेलन में प्रधानमंत्री ने कहा था कि वैश्विक संगठनों को ये नहीं समझना चाहिए कि युद्ध नहीं हो रहा है, तो सब शांति है। उन्होंने कहा कि प्रॉक्सी युद्ध ज्यादा खतरनाक है। नरेंद्र मोदी ने कहा कि जो संगठन और पेटीएम मनी लोग आतंकवादियों के लिए सहानुभूति रखते हैं, उन्हें भी अलग थलग करने की जरूरत है। प्रधानमंत्री ने ये भी कहा कि हर आतंकी हमले को वैश्विक स्तर पर बराबर आक्रोश और प्रतिक्रिया मिलना चाहिए।